जीवन परिचय – लब्ध प्रतिष्ठ साहित्यकार कविवर श्री रामचरण हयारण ‘मित्र’ का जन्म झाँसी में सन् 1904 ई. में 1 अप्रैल को हुआ था। उनके पिता स्वनामधन्य स्वर्गीय जगन्नाथ हयारण थे। सन् 1924 में गणेश शंकर विद्यार्थी के ‘स्वतन्त्रता प्राप्ति के लिए विद्यार्थियों स्कूल छोड़ो’ इस आह्वान पर मित्रजी ने विद्यालय की शिक्षा का त्याग कर दिया था। ‘मित्र’ जी निम्नलिखित कृतियाँ प्रकाशित हो चुकी हैं –
भेंट – इस काव्य-संग्रह में उनकी स्वतन्त्रता प्राप्ति के पूर्व की राष्ट्रीय चेतना पूर्ण कविताओं का संग्रह है।
सरसी– इस काव्य-कृति में अनेक राष्ट्रीय एवं सामाजिक सशक्त रचनाओं का संचय है। प्रकृति का भी इसमें आलंबन रूप में सजीव वर्णन हुआ है।
साधना – इसमें ‘मित्र’ जी के आध्यात्मिक विचारों को वाणी मिली है। यह उनकी चिंतन प्रधान काव्य रचना है।
ओरछा दर्शन – इस काव्य में ओरछा नगर, वहाँ के घाटों एवं दुर्ग का तथा प्राकृतिक सुषमा का सजीव एवं विषद चित्रण हुआ है।
लौलैंयाँ – यह बुन्देली का काव्य रत्न है। इसमें प्रेमपूर्ण घरेलू वातावरण एवं ग्राम्य जीवन की परम्पराओं का बड़ी तन्मयता के साथ सटीक चित्रण किया गया है।
लोकगायनी – यह बुन्देली में रचित गीति काव्य है। इसमें श्रृंगार, वीर, एवं शांत रस का पूर्ण परिपाक हुआ है।
गीता-दर्शन – यह श्रीमद्भगवद्गीता का रस पद्यानुवाद है जिसमें कवि मूल भाव से कहीं भी विचलित नहीं हुआ है।
आपने बुन्देली कहावतों का भाषा वैज्ञानिक एवं समाजशास्त्रीय अनुशीलन कर मध्यप्रदेश शासन उच्च शिक्षा विभाग के सेवासदन महाविद्यालय बुरहानपुर मप्र में विभागाध्यक्ष के रुप में पदस्थ रहे।
बुन्देली धरती के सपूत डॉ वीरेन्द्र कुमार निर्झर जी मूलतः महोबा के निवासी हैं। आपने बुन्देली कहावतों का भाषा वैज्ञानिक एवं समाजशास्त्रीय अनुशीलन कर मध्यप्रदेश शासन उच्च शिक्षा विभाग के सेवासदन महाविद्यालय बुरहानपुर मप्र में विभागाध्यक्ष के रुप में पदस्थ रहे। अखिल भारतीय साहित्य परिषद मालवा प्रांत, हिन्दी मंच,मध्यप्रदेश लेखक संघ जिला बुरहानपुर इकाई जैसी अनेक संस्थाओं के अध्यक्ष रहे। आपके नवगीत संग्रह -ओठों पर लगे पहले, सपने हाशियों पर,विप्लव के पल -काव्यसंग्रह, संघर्षों की धूप,ठमक रही चौपाल -दोहा संग्रह, वार्ता के वातायन वार्ता संकलन सहित अनेक पुस्तकों का सम्पादन कार्य किया है। आकाशवाणी के विभिन्न केन्द्रों से कहानी, कविता,रूपक, वार्ताएं प्रसारित हुई। अनेक पत्र-पत्रिकाओं में शताधिक लेख प्रकाशित हैं। अनेक मंचों से, संस्थाओं से राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय सम्मानों से सम्मानित एवं पुरस्कृत किया गया है। वर्तमान में डॉ जाकिर हुसैन ग्रुप आफ इंस्टीट्यूट बुरहानपुर में निदेशक के रूप में सेवायें दे रहे हैं।
डॉ. उषा मिश्र
सेवा निवृत वरिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी केमिस्ट्री और टॉक्सिकोलॉजी गृह विभाग, मध्यप्रदेश शासन।
नाम – डा. उषा मिश्रा पिता – डा.आर.सी अवस्थी पति – स्व. अशोक मिश्रा वर्तमान / स्थाई पता – 21, कैंट, कैंट पोस्ट ऑफिस के सामने, माल रोड, सागर, मध्य प्रदेश मो.न. – 9827368244 ई मेल – usha.mishra.1953@gmail.com व्यवसाय – सेवा निवृत वरिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी ( केमिस्ट्री और टॉक्सिकोलॉजी ) गृह विभाग, मध्यप्रदेश शासन। शैक्षणिक योग्यता – एम. एससी , पीएच. डी. शासकीय सेवा में रहते हुए राष्ट्रीय – अंतराष्ट्रीय कान्फ्रेंस में शोध पत्र की प्रस्तुति , मिनिस्ट्री ऑफ़ होम अफेयर, गृह विभाग द्वारा आयोजित वर्क शॉप, सेमिनार और गोष्ठीयों में सार्थक उपस्थिति , पुलिस ट्रेनिंग कॉलेज सागर में आई. पी. एस., डी. एस. पी. एवं अन्य प्रशिक्षणु को विषय सम्बन्धी व्याख्यान दिए।
सेवा निवृति उपरांत कविता एवं लेखन कार्य में उन्मुख, जो कई पत्रिकाओं में प्रकाशित। भारतीय शिक्षा मंडल महाकौशल प्रान्त से जुड़कर यथा संभव सामजिक चेतना जागरण कार्य हेतु प्रयास रत।