
दतिया का प्रतापगढ़ दुर्ग
October 8, 2024
कन्हरगढ़ दुर्ग, सेवढ़ा
October 8, 2024झील पर तैरता यह महल गोविन्द निवास पैलेस है। इसका निर्माण दतिया के आठवें शासक हिज हाइनेस लोकेन्द्र बहादुर गोविन्द सिंह जू देव द्वारा कराया गया। उन्हें 16 तोपों की सलामी का ऑनर प्राप्त था। इसकी आधारशिला इनके पितामह हिज हाइनेस विजय बहादुर जू देव ने रखी थी। यह महल जैव विविधता, विभिन्न प्रकार की वनस्पतियों एवं जलीय जीवों से भरपूर असनई झील के तट पर स्थित है। वर्तमान में यह महल राजा विक्रम सिंह के स्वामित्व में है जो महाराजा लोकेन्द्र बहादुर गोविन्द सिंह के पोते हैं। यह खूबसूरत परिसर लगभग 50 एकड़ में फैला हुआ है जिसमें महल के अलावा असनई झील शामिल है। बलुआ पत्थर से बना यह महल पत्थर पर की उत्कृष्ट पच्चीकारी का एक शानदार उदाहरण है।
महल में एक इनहाउस म्यूजियम भी है। जो सैकड़ों वर्ष पुरानी कलाकृतियों एवं चित्रकलां का उत्कृष्ट पैनोरमा है। यहाँ सौ वर्ष से भी अधिक प्राचीन फोटोग्राफ्स के निगेटिव उपलब्ध है। दरबार हॉल में लगे झाड़ फनूस, एंटिक फर्नीचर, शिकार किये गए जानवरों की आकृतियाँ इसे और अधिक आकर्षक बना देते हैं। दरबार के सामने लगा फाउंटेन चलने पर माहौल में रोचकता एवं मादकता पैदा कर देता है। वर्षात के दिनों में यहाँ का दृश्य और भी मनोरम हो जाता है। वर्षात में असनई झील झरने का रूप धारण कर लेती है। तब यहाँ का दृश्य देखते ही बनता है। गोविन्द निवास पैलेस में रॉयल होम स्टे आरंभ हो जाने के बाद इस तैरते हुए पैलेस का लुत्फ दतिया आने वाले टूरिस्ट भी ले सकेंगे।